मनुष्य के जीवन भर उसके दांत उसका साथ देते है जबकि आदमी दांतों की देखरेख सावधानी पूर्वक करें। सुपाड़ी, तम्बाखू और सिगरेट दातों को सर्वाधिक नुकशान पहुंचाते है। किसी भी तरह का भोजन करने से दांतों को कोई नुकशान नहीं होता है लेकिन भोजन के बाद मुंह की सफाई करना आवश्यक है। रात्रि में भोजन के उपरांत मीठा, चॉकलेट तथा मुंह में चिपकने वाली चीज खाने से बचना चाहिए। जबलपुर के वरिष्ठ दंतरोग चिकित्सक डॉ सुनील चौहान का उक्त कहना है। पीपुल्स संवाददाता की उनके साथ हुई बातचीत के अंश-
* मनुष्य के दांतों की उम्र क्या होती है और वह कितने समय बाद स्वत: टूट जाते है?
** मेरा अनुभव है कि मनुष्य के दांत उसके जीवन भर बने रहते हे जबकि मनुष्य यदि पूर्ण स्वस्थ हो तथा वह अपने दांतों की केयर करता हो। तम्बाखू -सुपाड़ी चबाने वालों के दांत जल्द खराब होते है। दाांतों में कैविटी तथा पाइरिया होने की स्थिति में ही दांत एवं मसूड़े खराब होते है। यही दांत के गिरने का कारण बनता है।
* दांतो में सर्वाधिक कौन सी बीमारी होती है?
** मेरे पास आने वाले 90 प्रतशत मामलों में पाइरिया तथा केविटी के मरीज ही आते है , िजसके कारण उनके दांत खराब हो जाते है।
* इस बीमारी की मुख्य वजह क्या होती है, इससे कैसे बचा जाए?
** मुख को साफ रखने से न कैबिटी होती है और न पाइरिया, दरअसल ये बैक्टिरिय इंफैक्टशन है। मुह में जूठा भोजन फंसे रहने से ये बीमारी होती है। रात्रि में सोने के पूर्व ब्रश किया जाए तथा ब्रश करने के बाद कुछ भी नहीं खाना चाहिए तथा सुबह भी ब्रश किया जाए तो दांत हमेशा स्वस्थ रहेंगे। दांतो की देखरेख जरूरी है। इसके अतिरिक्त हर छह माह में दंतरोग चिकित्सक से चैकअप कराने की आदत डालनी चाहिए।
*दांतों के उपचार के लिए कौन सी आधुनिक चिकित्सा शुरू की है आपने ?
** लेजर तकनीक से उपचार शुरू किया गया है। इससे मुंह के आॅपरेशन में अनावश्य रक्त नहंी बहता है। वहीं दांतों को चमकाने तथा मसूड़ों के आपरेशन एवं मरम्मत से बेहद अधिक कारगर तकनीक है।
* यह धारणा है कि भटा , लौकी तथा कुछ अन्य सब्सिजां खाने से दांतों में दर्द होता है, इसी तरह दांत की मशीन द्वारा सफाई करने पर दांत हिलने लगते है ,ऐसा क्यों?
** यह भ्रामक बाते है। कुछ खाने से दांत का दर्द नहंी होता है। दरअसल सफाई से भी दांत हिलते है, यह भी भ्रामक धारणा हैं।
* क्या दांतों के इंफैक्शन तथा मसूड़ों की बीमारी से कैंसर होता है?
** मुख कैंसर का मुख्य कारण तम्बाखू, सिंगरेट ,पान -गुटखा और शराब पीना होता है। लाखों में एक मामले में ऐसे होते है जो कि पाइरिया अथवा मुंह के इंफैक्शन अथवा दांत सड़ने के कारण कैंसर होता है। दरअसल कोई दांत ऐसा नुकीला होता है जिससे मुंह का कोई हिस्सा छिलता रहता है तो वहां कैंसर की संभावना जरूर बन जाती है।
* कोई यादगार केस?
** एक महिला मेरे पास आई थी। जिसके दो दांत के बीच गैप था तथा उसमें उसकी जीभ फंसा करते थी। परिणाम स्वरूप जीभ में बड़ी विकृति आ गई थी जिसको लेजर से आॅपरेट किया गया। इसी तरह नकली दांत लगाने वाले एक मरीज के मसूड़े में आवश्यकता से ज्यादा ग्रोथ हो गई थी जिसको आॅपरेट किया गया।
* दांतो की विकृति का क्या उपचार है?
** समय रहते दंत रोग चिकित्सक से दांतों की विकृति दुरूस्त करानी चाहिए। इससे दांत बाद में बीमारी का खतरा कम हो जाता है। स्वस्थ्य दांत के लिए विकृति हीन दांत होना चाहिए और दूसरा उसकी सफाई सबसे आवश्यक है।
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